अधिकारक क्षेत्र

चले है कुछ सपने लिए अपने ही अधिकारक क्षेत्र लिए हुए लेकिन इस बात को याद रखना कदापि गलत नहीं होगा की हर मुकाम अपने अधिकार में नहीं होती कुछ चीजे पर दूसरो की की लगाम आवश्यक है। जो थोड़ी हमारी समझ से परे हो कुछ अच्छे हो कुछ ज्यादा भले-बुरे  हो पर कहीं न कहीं सीख देते है की क्या गलत है क्या सहीं है।
मैंने देखा और महसूस किया की कुछ चीजे बदलने वाली नहीं है, मैं फंस गया हूँ ,मैं मेरे दोस्त किस हालात तक स्वीकार करेंगे - शायद मैं टूट जाऊं या फिर इसका मतलब हो सकता है कि मैंने अपनी शिक्षा बर्बाद की पैसे या अपना दिमाग। खैर हर दिन मैं अपना सुराग ढूंढने की कोशिश करता हूँ वैसे भी परिवर्तन ही संसार का नियम है।
अक्सर मैं अपने रिश्ते और वर्तमान से उदास होता हूँ, मेरे लिए खुद से परेशान होना यह मेरे लिए खुद को चुनौती देने की शुरुआत  है, लगभग हर दिन मैं खुद को जरूरत से ज्यादा धक्का देता हूँ जब तक मुझे दर्द नहीं होता, पर हाँ कभी कभी तो बहुत होता  है,
                                                     लेकिन मुझे पता है की वापस उन चीजों के पास लौटूंगा जिसे मैं वाकई पसंद करता हूँ। 

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